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मुशर्रफ की लाश 3दिन इस्लामाबाद के डी चौंक में लटकायी जाये-पाक अदालत का फ़तवा
इस्लामाबाद, 19 दिसंबर, 2019: पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रपति जनरल परवेज मुशर्रफ के लिए फांसी की सज़ा सुनाने वाली विशेष अदालत ने अपने 167 पन्नों के फ़ैसले में हिदायत की है कि यदि मुशर्रफ फांसी से पहले मर गया तो उसकी लाश घसीट कर इस्लामाबाद के डी चौंक तक लाई जाये और वहां तीन दिन तक लटका कर रखी जाये।
पाकिस्तान के इतिहास में पहली बार एक विशेष अदालत ने देश द्रोह के मामलो में किसी सारबका सैनिक शासक जनरल को फांसी की सज़ा सुनाई है।’पाकिस्तान टुडे’की रिपोर्ट के मुताबिक फ़ैसले में कहा गया है कि उस समय पर की कोरपस कमांडरज़ समिति के इलावा जो भी वरधीदारी अफ़सर हर दिन हर समय पर मुशर्रफ की चौकीदारी करते थे, वह भी उसके अच्छे बुरे कर्मों में मुलजिम के तौर पर बराबर और पूरे हिस्सेदार हैं। फ़ैसले में कहा गया है कि हम मुलजिम को दोषी मानते हैं और इस दोषी को गर्दन से लटका कर तब तक रखा जाये जब तक यह मर नहीं जाता। फ़ैसले में कहा गया कि हम कानून लागू करन वाली एजेंसियाँ को हिदायत करते हैं कि वह भगौड़े /दोषी को पकड़ने के लिए अपनी पूरी वाह लगा देने और यकीनी बनाने कि कानून अनुसार उसको सज़ा दी जाये और यदि वह मरा पाया गया तो फिर उसकी लाश घसीट कर डी चौंक इस्लामाबाद, पाकिस्तान तक लाई जाये और वहां 3दिन तक टाँगी रखी जाये।
मंगलवार को सुनाए संक्षिप्त फ़ैसले में पेशावर हाई कोर्ट के चीफ़ जस्टिस वक्कार अहमद सेठ का नेतृत्व वाले तीन सदस्यता बैंच जिस में जस्टिस नज़र अकबर सिंध हाई कोर्ट और जस्टिस शाहद करीम लाहौर हाई कोर्ट भी शामिल थे, ने मुशर्रफ को संविधान की धारा 6के अंतर्गत दोषी पाया था।
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